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fairness tips चेहरे की रंगत

आज कल गोरा और सुंदर दिखने की चाह महिलाओं में ही नहीं बल्कि पुरुषों में भी है. प्रदूषण सन टैन और चेहरे पर पड़े डार्क स्‍पॉट और पिगमेंटेशन की वजह से चेहरा काला दिखाई देने लगता है.


चेहरे की रंगत मलाई से
दूध के ऊपर जमने वाली मलाई में कुदरती पोषण और मिनरल्‍स होते हैं . मलाई आपकी त्वचाा को निखारतीी है . कभी तो एक इन्फेंट की मलाई से मालिश करी जाती है. आपको सिर्फ जरूरत है  1 चम्‍मच मलाई की इसमें चुटकीभर हल्‍दी मिला कर चेहरे पर लगाएं. 10 मिनट के बाद चेहरे को हल्के हाथों से रगड़ते हुए  साफ कर लें . ऐसा हफ्ते में दो बार करें. 
 नींबू और टमाटर का उपयोग
नींबू के रस में बीज निकल हुए टमाटर का  गूदा मिलाएं और  इसे चेहरे पर लगा कर कुछ देर केेेे लिए छोड़ दें. सूखने पर चेहरे को धो लें. यह पैक संवेदनशील स्किन पर बेहद कारगर है.
बेसन का पैक
ऑयलीीी और मिश्रित त्वचा क लिए बेसन से बना बहुत उपयोगी है. बेसन चेहरे के कालेपन को दूर करताा है. इसके लिए बेसन, हल्दी और दही मिलाएं. इसमें एक चम्मच गुलाबजल भी मिला लें.10 मिनट के बाद चेहरे को हल्के हाथों से स्क्रब कर के ठंडे पानी से धो लें. इससे चेहरे के पोर्स अंदर से साफ होते हैं और चेहरा कुछ ही मिनट में गोरा दिखने लगता है. 
संतरे के छिलके का उपयोग
संतरे के सूखे छिलकों को पीस कर पाउडर बना लें. फिर उसमें ब्राउन शुगर और रोज वॉटर मिलाााएं और 10 मिनट के लिए चेहरे पर लगाएं उसके बाद गोलाई में स्‍क्रब करते हुए ठंडे पानी  से  चेहरे को धो लें. ऐसा करने से आपकी डेड स्‍किन हटेगी, चेहरा साफ बनेगा और स्किन ग्लो करेगी.
संदल पाउडर
संदल पाउडर फेस को कांति मय बनाने के लिए बहुत कारगर है.चेहरे को गोरा बनाने में चंदन पाउडर को कोई जवाब नहीं. इस पैक को बनाने के लिए आधा चम्‍मच चंदन पाउडर में चुटकीभर हल्‍दी और 4 बूंद बादाम तेल मिक्‍स करें. इसके बाद इस पैक को मिक्‍स कर के चेहरे पर लगाएं. यह चेहरे को पोषण देगा और डार्क स्‍पॉट हटा कर चेहरे की रंगत लौटाएगा.

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skin problems त्वचा संबंधी आम समस्याएं

गर्मी का मौसम शरीर और त्वचा दोनों पर भारी पड़ता है। जैसे-जैसे तापमान बढ़ता है गर्मी बर्दाश्त से बाहर होने लगती है, शरीर को व खुद को ठंडा, सुरक्षित और संक्रमण से मुक्त रखने के लिए लोगों को ज्यादा मेहनत करनी पड़ती है। यही बात त्वचा पर भी लागू होती है। इन सारी समस्याओं का एकमात्र उपाय होता है खुद को अच्छी तरह से हाइड्रेटेड रखना, मतलब अपनी त्वचा को सूरज के सीधे संपर्क से बचाना और संक्रमण के लिए जिम्मेदार स्थितियों से बचाव करना और साथ ही कुछ नियमों का पालन करना।
1. समस्या
सनबर्न :- गर्मियों की धूप बेहद तीखी होती है। इससे त्वचा को छील जाती है और त्वचा पर लाल चकत्ते और निशान भी उभर जाते हैं जिससे जलन महसूस होती है। ऐसा उन लोगों को ज्यादा होता है जिनकी त्वचा संवेदनशील होती है। साधारण भाशा में कहे तो सूरज मुलायम और संवेदनशील त्वचा को जला देती है।
उपाय :- इस स्थिति से खुद को बचाने का एक ही उपाय है, जहां तक हो सके धूप के सीधे संपर्क में आने से बचें। इसके साथ ही त्वचा पर नियमित रूप से सन्सक्रीन लगाना भी जरूरी है। अपने चेहरे, गर्दन और बाहों पर बाहर निकलने से 20 मिनट पहले कोई सनब्लॉक क्रीम अच्छी तरह से लगाएं। इतना ही नहीं, त्वचा की सुरक्षा बरकरार रहे इसके लिए हर 4 घंटे के अंतराल में सन्सक्रीन लगाएं। इसके साथ ही संवेदनशील त्वचा वाले लोगों को दिन के समय में शरीर को जहां तक हो सके ढंकने वाले और कॉटन के कपड़े पहनने की सलाह दी जाती है। अपनी त्वचा की गर्मी शांत करने के लिए शाम को एलोवेरा जेल का फेस पैक इस्तेमाल करें।
2. समस्या
डीहाइड्रेशन:-  डीहाइड्रेशन का असर सिर्फ आपके शरीर को ही नहीं बल्कि आपकी त्वचा को भी झेलना पड़ता है। लगातार पसीना आने से शरीर में पानी की कमी होती रहती है। इसकी पूर्ति के लिए अगर पर्याप्त मात्रा में लिक्विड न लिया जाए तो त्वचा रूखी, बेजान, इरिटेटेड और सनबर्न की चपेट में आने के अनुकूल बन जाती है, जिससे होंठ फटने लगते हैं और जगह-जगह रूखे चकत्ते उभर सकते हैं।

उपाय :- इससे बचाव के लिए खूब सारा पानी पीते रहें। हर समय अपने साथ पानी की एक बोतल रखें। हर आधे घंटे में एक बार पानी जरूर पिएं। गर्मियों में तरबूज जैसे फल शरीर और त्वचा के लिए बेहद उपयुक्त होते हैं क्योंकि इनमें खूब सारा पानी होता है। आप कुछ डीप हाइड्रेटिंग ट्रीटमेंट भी ले सकते हैं, जैसे कि हाइड्रेटिंग इलेक्ट्रोपोरेशन थेरेपी, ऑक्सीजन थेरेपी और जुवेडर्म रिफाइन।

3. समस्या
मुहांसे :-  पसीना हमारी त्वचा को धूल-मिट्टी और प्रदूशण के लिए चुंबक जैसा बना देता है, खासतौर से तब जब हम बाहर ज्यादा समय गुजारते हैं। गर्मी और गंदगी का यह मेल मुंहासों के पनपने के लिए उपयुक्त होता है। गंदगी से त्वचा के रोम छिद्र बंद हो जाते हैं और भीतर से गर्मी बढ़ने पर बैक्टीरिया तेजी से पनपते हैं।

उपाय :- मुंहांसों की समस्या को कम करने के लिए त्वचा को हमेशा साफ रखें। अपने साथ हमेशा एक फेसवॉश रखें और त्वचा को साफ रखने के लिए दिन में कम से कम तीन बार चेहरा धोएं। त्वचा के रोमछिद्र बंद न हों इसके लिए हर शाम में कोई अच्छा स्किन क्लींजर लगाएं। एंटी बैक्टीरियल फेसवॉश का इस्तेमाल करें और रात में चेहरे पर मुल्तानी मिट्टी या चंदन पाउडर का लेप लगाएं। इससे आपकी त्वचा में ठंडक बरकरार रहेगी। कई बार मुंहांसों से निजात के लिए मेडिकल उपायों की भी जरूरत पड़ती है। तो अगर आपकी समस्या घरेलू उपायों से ठीक नहीं हो रही है तो किसी त्वचा रोग विशेषज्ञ से मिलें। हो सकता है आपको हार्मोनल करेक्शन की जरूरत हो।
4. समस्या
गर्मियों से चकत्ते :-  गर्मियों के दिनों में तमाम कारणों से त्वचा इरिटेबल हो जाती है। गर्मी के साथ पसीना आना सबसे बड़ी समस्या होती है। कभी-कभी धूल-मिट्टी रोमछिद्रों में घुसकर इसमें रूकावट डालते हैं, ऐसे में पसीना सही ढंग से बाहर नहीं निकल पाता है और त्वचा पर खुजली वाले चकत्ते, छाले या कील-मुंहांसे हो जाते हैं। कपड़ों की रगड़ से त्वचा की हालत और खराब हो सकती है। अगर आपको पसीना आता है तो अपने आप साफ रखकर इस समस्या से बचा सकते हैं।
उपाय :- दिन में दो बार नहाएं। खासतौर से रात के समय जरूर नहाएं। नहाने के लिए कोई एंटीबैक्टीरियल साबुन या बाथ जेल इस्तेमाल करें। जहां तक हो सके खुद को सूखा रखें। प्रभावित त्वचा पर बर्फ रगड़ें, इससे जलन कम होगी। अगर स्थिति में सुधार न आए तो डॉक्टर को दिखाएं।
5. समस्या
बैक्टीरियल संक्रमण :-  गर्मी का मौसम बहुत तरह के बैक्टीरिया और वायरस के लिए अनुकूल होता है। बैक्टीरिया हर जगह होते हैं और आप इन्हें देख भी नहीं सकते। जो लोग पब्लिक टृांसपोर्ट का इस्तेमाल करते हैं और भीड़भाड़ वाली जगहों पर जाते हैं उन्हें बैक्टीरियल संक्रमण का खतरा काफी ज्यादा होता है। यहां तक कि बस की सीट या खिड़कियां, जिन्हें आप हाथ लगाते हैं, पर भी बैक्टीरिया जमे हो सकते हैं। यही हाथ अगर हम अपने चेहरे पर लगाते हैं तो संक्रमण की चपेट में आ सकते हैं।

उपाय :- अपने हाथों को बार-बार धोने और साफ रखने की कोशिश करें। अपने साथ हैंडवॉश रखें और प्रत्येक कुछ घंटों के अंतराल में हाथों को धोएं। अगर ऐसा करना संभव न हो तो कोई हैंड सैनिटाइजर इस्तेमाल करें। और अपनी उंगलियों से चेहरे को बार-बार छूने की आदत छोड़ दें। डॉ. चिरंजीव छाबड़ा कहते हैं कि इसके अलावा फोलिकल्टिस एक आम समस्या है जिसमें बालों के फोलिकल बैक्टीरिया की वजह से डैमेज हो जाते हैं और परिणामस्वरूप इन्फ्लेमेशन होता है। इससे बचाव के लिए ढीले कपड़े पहनें, ऐसे स्विमिंग पूल में जाने से बचें, जो पूरी तरह साफ न रहता हो, शेविंग करते समय त्वचा को कटने से बचाएं।
6-समस्या 
टैनिंग :-  गर्मियों में इस समस्या से बचा नहीं जा सकता क्योंकि जब हम सूरज की यूवी किरणों के संपर्क में आते हैं, तब त्वचा का मेलनिन एक सुरक्षात्मक कवर बनाता है। इन मेलेनिन की वजह से ही गहरे धब्बे उभरते हैं, या तो ये पूरे चेहरे पर एक समान दिखाई देते हैं अथवा चकत्तों के रूप में नजर आते हैं। इस स्थिति को स्किन डार्केनिंग, टैनिंग अथवा हाइपर पिगमेंटेशन कहते हैं।

उपाय :-  हर समय 30 एसपीएफ वाला सनस्क्रीन लगाएं। साथ ही आंखों के नीचे काले घेरे होने से रोकने के लिए धूप का चश्मा जरूरी लगाएं। टैनिंग का असर खत्म करने के लिए लेजर स्किन रीजुविनेशन, केमिकल पील्स अथवा माइक्रोडर्माऐब्रेजन जैसे प्रोसीजर कराएं। इसके आप त्वचा रोग विशेषज्ञ से मिले ताकि वो आपकी त्वचा के लिए उपयुक्त प्रॉसीजर बता सकें।

fruits skin benefits फलों से त्वचा को रखे खूबसूरत

फलों की तरह कोमल और सुंदर चेहरा पाने की सबकी ख्वाहिश होती है।  इस ख्वाहिश को पूरा करने के लिए आप भी फूलों की मदद से अपने चेहरे को आकर्षक बना सकती हैं। बाज़ार के कीमती प्रोड्क्ट्स से ज्यादा असरदार भी होगा और नेचुरल भी। फलों में कई विटामिन्स और मिनरल्स होते हैं, जो हमारे चेहरे के लिए भी अत्यंत जरूरी होते हैं। इसलिए हमें केमिकल्स के बजाय नेचुरल चीजों का इस्तेमाल करना चाहिए।

  • नारियल का पानी और मलाई को मिक्स कर के लगाने से आपकी त्वचा के दाग-धब्बे दूर हो जाएंगे और रोज़ाना इसे इस्तेमाल करने से आपका चेहरा कोमल और खूबसूरत नजर आएगा।
  • एक चम्मच नींबू का रस  और आधा चम्मच शहद व दूध की कुछ बूंदे मिला लें। इस मिक्सचर को नहाने से 15 मिनट पहले चेहरे पर लगाएं और फिर इसके बाद नहाएं। यह आपकी त्वचा को ईवन टोन करेगा साथ ही त्वचा की तैलीयता को कम करने में मदद करेगा।
  • संतरे के छिलकों को सुखाकर उसे पीस लें फिर उसके बाद संतरे के पाउडर और बेसन के साथ मिलाकर उसे आप उबटन की तरह इस्तेमाल करें। यह आपके त्वचा के डेड स्किन को हटा देगा और आपकी त्वचा आकर्षक नजर आएगी।
  • आंखों की झाइयां हटाने के लिए आप खीरे और आलू के गोल टुकड़े काट कर आंखों पर रखें। इसे रोज़ाना इस्तेमाल करने से आपकी आंखों की झाइयां कम हो जाएगी।
  • चेहरे को ग्लोइंग बनाने के लिए आप केले के गुद्दे को शहद के साथ मिलाकर चेहरे पर लगाएं और इसे 20 मिनट के लिए छोड़ दें। ये फेस पैक आपके चेहरे पर ग्लो लाने में मदद करता है।
  • चेहरे को खूबसूरत और जवान बनाए रखने के लिए आप सेव का पेस्ट चेहरे पर लगाएं। सेव के पेस्ट को तैयार कर चेहरे पर 15 से 20 मिनट तक रखें फिर आप चेहरे को धो लें। इससे आपका चेहरा फ्रैस और आप तरोताजा महसूस करेंगी।

figs nutritional benefits कब्ज और बबासीर का रामबाण इलाज है भीगा हुआ अंजीर

अंजीर मल्बेरी फैमिली का एक लोकप्रिय मौसमी फल है। अंजीर में बहुत से गुण पाए जाते हैं । भारत में इसे सूखे और ताजे दोनों तरह इस्तेमाल किया जाता है। अंजीर बैंगनी, हरे और अन्य कई रंगों में पाया जाता है। यह खाने में मीठा और छोटे-छोटे बीजों से भरा होता है । इस फल को स्वाद के तौर पर ही नही खाया जाता बल्कि इसके और भी कई आयुर्वेदिक फायदें हैं।



 1. डायबिटीज
ताजा अंजीर रसदार गुदे और कुरकुरे बीजों से भरा होता है। भारत में यह सूखे फल के रूप में भी मिल जाता है, लेकिन ज्यादातर लोग ताजा अंजीर खाना पंसद करते है। इसमे कम कैलोरी और शुगर होती हैं जो डायबिटीज के रोगियों के लिए काफी फायदेमंद होती है।
 2. वजन घटाने में करता है मदद
अंजीर फाइबर का पावरहाउस होता है। यह पाचन क्रिया को ठीक रखता है। इसे खाने से भूख से राहत मिलती है और दोबारा जल्दी भूख नही लगती और यह वजन घटाने में बहुत हैल्प करता है।
3. कब्ज करता है दूर

कब्ज के लिए यह एक आसान घरेलू उपाय है। इसके लिए सूखे अंजीर के बीज रात को भिगोकर सुबह खाने से कब्ज से आराम मिलता है। सूखा अंजीर खाने से पेट दर्द से भी राहत मिलती है।
4. अन्य गुण 
सूखे अंजीर में ताजे अंजीर के मुकाबले 13 मिलीग्राम कैल्शियम की मात्रा अधिक पाई जाती है। इसके अलावा अंजीर में विटामिन ए, बी और कई मिनरल्‍स पाए जाते है। जो शरीर को कई बीमारियों से बचाते हैं।


5. बबासीर का ईलाज
बबासीर कब्ज से पैदा होने वाली बीमारी है। यह पाचन क्रिया में खराबी के कारण होती है। इसके लिए 2-3 सूखे अंजीर को पानी में भिगो दें और उन्हें रात भर छोड़ दें। सुबह उनका सेवन करें। एक महीने के लिए रोजाना इसे खाएं। अच्छे रिजल्ट के लिए खाने में फाइबर से भरपूर फलों सब्जियों को सलाद में खाएं। फास्टफूड से परहेज रखें।

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pigmentation home remedy झाइयों को दूर करने के सफल और असदार घरेलू नुस्खे!

खूबसूरत और बेदाग चेहरा किसे पसंद नहीं होता। मगर धूल-मिट्टी या फिर किसी अन्या कारण से चेहरे पर झाइयां पड़ जाती हैं जो इंसान की पूरी पर्सनैलिटी को खराब कर देते हैं। एेसे में चेहरे पर पड़ी झांइयों को दूर करने के लिए लोग कई तरह के ब्यूटी ट्रीटमेंट्स का सहारा लेते हैं लेकिन इनसे कई बार साइड-इफैक्ट भी हो जाता है। एेसे में आप कुछ घरेलू चीजों का इस्तेमाल करके झांइयों को 1 हफ्ते में गायब कर सकते हैं। 
 1.शहद और नींबू का रस
झाइयों को दूर करने के लिए शहद और नींबू के रस का एक पेस्ट बनाएं। 1 चम्मच शहद में 5 बूंदे नींबू के रस की मिला कर चेहरे पर लगाएं। जब यह सूख जाए तो चेहरा धो लें। एेसा करने से 1 हफ्ते में आपको फर्क दिखाई देने लगेगा। 

2. गुलाब जल और चंदन पाउडर
चेहरे पर पड़ी झाइयों से राहत पाने करने के लिए 1 चम्मच रोज गुलाब और 2 चम्मच चंदन पाउडर मिलाकर पेस्ट बनाएं। इस पेस्ट को आधा घंटे के लिए चेहरे पर लगाने के बाद ठंडे पानी से धो लें। हफ्ते में 4 बार इस पेस्ट को लगाएं। 
 3. नींबू और पानी
नींबू में नैचुरल ब्लीचिंग गुण होते हैं तो जो झाइयों को गायब करने में सहायक है। दो चम्मच नींबू के रस में 4 चम्मच पानी मिलाकर झाइयों पर 1 घंटा लगाएं। हफ्तेभर में दाग-धब्बों से छुटकारा मिलेगा। 

4. एलोवेरा
एलोवेरा भी स्किन के दाग-धब्बों की दूर भगाने का काम करता है। ताजी एलोवेरा को चेहरे पर कम से कम 15 मिनट तक लगाने के बाद ठंडे पानी से चेहरा धो लें। एलोवेरा जेल का इस्तेमाल करने से कुछ ही दिनों में चेहरा बेदाग और गोरा होगा। 

5. पपीते का जूस या पल्प
पपीते का जूस और पल्प बेदाग चेहरे के लिए बहुत फायदेमंद है। झाइयों वाली जगह पर पपीते का रस लगाएं। जब वह सुख जाए तो चेहरा धो लें। रोजाना एेसा करने से चेहरे से झाइयों के अलावा दूसरे सभी दाग भी दूर हो जाएंगे।



hair and skin care at home घर में ही त्वचा, बाल, हाथ, पांव और नाखून का रखें ध्यान

महिलाएं न केवल त्वचा, बल्कि बाल, हाथ, पांव और नाखून के सौंदर्य पर ध्यान देकर अपनी खूबसूरती में चार चांद लगा सकती हैं. ब्यूटी एक्सपर्ट शहनाज हुसैन ने इनके लिए घरेलू आर्गेनिक नुस्खे बताए हैं. इसे इस्तेमाल करना बेहद आसान है.
- सप्ताह में दो बार बालों का तेल से ट्रीटमेंट करें. जैतून के तेल को गर्म करके इसे बालों तथा खोपड़ी पर मालिश करें. इसके बाद तौलिए को गर्म पानी में डुबोएं. पानी को निचोड़ने के बाद तौलिए को सिर पर पगड़ी की तरह पांच मिनट तक लपेट लें. इस प्रक्रिया को 3-4 बार दोहराएं, इससे बालों तथा खोपड़ी पर तेल को सोखने में आसानी होती है.


- अंडे का सफेद हिस्सा तैलीय बालों के लिए प्राकृतिक क्लीनजर का काम करता है. अंडे के सफेद हिस्से को बालों को शैम्पू करने से आधा घंटा पहला लगा लीजिए. बालों को पोषण प्रदान करने के लिए अंडे के योक से खोपड़ी की हल्की-हल्की मालिश कीजिए और इसे आध घंटा तक रहने दीजिए. बाद में बालों को स्वच्छ पानी से धो डालिए. इससे बाल मुलायम हो जाते हैं तथा बालों में रंग लगाने के दौरान सुलझाने में मदद मिलती और ज्यादा नुकसान भी नहीं होता.
- यदि आपके बाल खुश्क पड़ गए हैं तो शैम्पू से पहले कंडीशनर कर लें. एक चम्मच सिरके को शहद में मिलाकर एक अंडे में मिला लीजिए. इस मिश्रण को अच्छी तरह फेंट लीजिए तथा खोपड़ी में लगा लीजिए. बाद में सिर को गर्म तौलिए से 20 मिनट तक ढक कर रखिए. इसके बाद बालों को ताजे ठंडे पानी से धो डालिए. इससे आपके बाल चमकदार व सुंदर दिखेंगे.
- बालों की चमक बढ़ाने के लिए शैम्पू के बाद चाय के पानी तथा नींबू से खंगाल लीजिए. प्रयोग में लाई जा चुकी चाय पत्ती को उबालकर चाय पानी बना लीजिए तथा इसे ठंडा करने के बाद इसमें नींबू जूस मिलाकर इसका उपयोग कर लीजिए.
- हाथ तथा पांवों को गर्म पानी में डुबोने के बाद क्रीम से मसाज कर लीजिए , ताकि त्वचा कोमल तथा मुलायम बन जाए. हाथों के सौंदर्य के लिए उन्हें चीनी तथा नींबू जूस से रगड़ लें.
- तीन चम्मच गुलाब जल में एक चम्मच ग्लीसरीन तथा नींबू का रस मिला लीजिए. इसे हाथों तथा पांवों पर आध घंटा तक लगा रहने दीजिए, इसके बाद ताजे सादे जल से धो डालिए.
- हाथों तथा नाखूनों के सौंदर्य के लिए बादाम के तेल तथा शहद को बराबर मात्रा में मिलाकर इसे नाखूनों तथा क्यूटिकल की मालिश करें. इसे 15 मिनट तक लगे रहने के बाद गीले तौलिए से साफ कर लीजिए.
- चेहरे को साफ करने के लिए शहद को अंडे के सफेद पदार्थ में मिलाइए तथा इसे चेहरे पर 20 मिनट तक लगा रहने के बाद ताजे स्वच्छ पानी से धो डालिए.जिनकी त्वचा अत्यधिक खुश्क है , वह आधा चम्मच शहद में बादाम तेल तथा ड्राई मिल्क पाऊडर मिला लें तथा इसका पेस्ट बनाकर इसे चेहरे पर लगा लें. इस पेस्ट को आधे घंटे तक चेहरे पर लगा रहने दें तथा बाद में पानी से धो डालें. चेहरे को धोने के बाद गुलाब जल में कॉटन वूल पैड को भिगोकर चेहरे को कॉटन वूल पैड से साफ कर लें.

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Tongue ulcer जीभ पर छाले होने का उपचार

जीभ हमारे शरीर का एक अतिसंवेदनशील हिस्सा होती है। लेकिन आमतौर पर इसकी अधिक देखभाल नहीं की जाती है। जब जीभ के दांतों से कटने, चोट लगने या अन्य विभिन्न कारणों से जीभ पर छोटे-छोटे घाव जैसे छाले उभर आते हैं तो इसे जीभ का अल्सर कहा जाता है। ये छाले जीभ के अलावा मुंह को भी प्रभावित करते हैं। जीभ पर छाले हो जाने से व्यक्ति को सबसे अधिक कुछ खाने-पीने में असुविधा होती है। इस दौरान मसालेदार खाद्य सामग्री खाने से जीभ की बेचैनी और जलन अधिक बढ़ जाती है। जीभ के छाले बहुत आसानी से ठीक नहीं होते हैं और इन्हें ठीक होने में चार से पांच दिन या इससे भी अधिक समय लग सकता है।

अक्सर जीभ पर छाले पड़ने का कोई एक कारण नहीं होता है। इस समस्या के पीछे कई कारण होते हैं। लेकिन छाले पड़ने पर जल्द से जल्द इसका इलाज कराना चाहिए अन्यथा ये छाले बड़े घाव का भी रूप ले सकते हैं। आइये जानते हैं कि जीभ पर छाले किस वजह से पड़ते हैं।

  • मुंह में यीस्ट इंफेक्शन हो जाने से।
  • गलती से अपने ही दांतों से जीभ कट जाने से।
  • अधिक धूम्रपान करने से।
  • अधिक नमकयुक्त और मसालेदार खाद्य पदार्थ खाने से।
  • आंत और पेट से संबंधित कोई समस्या होने से। 
  • शरीर में विटामिन और मिनरल जैसे-फोलिक एसिड औऱ विटामिन बी की कमी होने से।
  • वायरल इंफेक्शन के कारण।
  • मुंह में चोट लगने के कारण।
  • इम्यून सिस्टम कमजोर होने के कारण। 
  • पेट साफ न होने के कारण।
  • किसी दवा का अधिक सेवन करने के कारण।

जीभ पर छाले होने के लक्षण

जीभ पर छाले हो जाने से व्यक्ति आसानी से कुछ भी खाने पीने में सक्षम नहीं होता है और उसे हमेशा बेचैनी महसूस होती है। आइये जानते हैं कि जीभ पर छाले होने के लक्षण क्या हैं।
  • मुंह और जीभ में जलन होना।
  • जीभ के ऊपर गोल फफोले एवं छाले तथा घाव उभर आना।
  • जीभ पर लाल और सफेद घाव हो जाना।
  • मुंह से लगातार पानी निकलना।
  • जीभ के छालों के कारण बुखार आ जाना।
  • चूंकि जीभ के छाले बहुत पीड़ादायक होते हैं इसलिए इनसे निजात पाने के लिए जल्दी ही इनका इलाज करना चाहिए। जीभ के छालों का इलाज घर पर भी बहुत आसानी से किया जाता सकता है।

जीभ के छालों का घरेलू उपचार और इलाज

जीभ पर छाले होना कोई गंभीर समस्या नहीं है और ऊपर बताये गए कारणों में से किसी भी कारण से किसी भी समय व्यक्ति जीभ के छालों से परेशान हो सकता है। लेकिन घबराने की बात नहीं है क्योंकि जब भी जीभ पर छाले पड़े तो इन घरेलू उपायों के जरिए आप जीभ के छालों से निजात पा सकते हैं।

एंटी इंफ्लैमेटरी गुणों से युक्त होने के कारण एलोवेरा जीभ पर उभरे छालों को ठंडक (cooling) प्रदान कर उन्हें शांत रखता है और दर्द में भी राहत प्रदान करता है। एलोवेरा जीभ के छालों एवं मुंह से संबंधित विभिन्न समस्याओं के लिए फायदेमंद होता है। जीभ के छाले दूर करने के लिए एलोवेरा के पत्तियों से जेल निकालकर सीधे जीभ पर लगाएं। दिन में तीन से चार बार लगाने पर छाले शांत पड़ जाते हैं और जीभ में जलन और दर्द भी नहीं होता है। इसके अलावा एलोवेरा जेल से दिन में तीन से चार बार कुल्ला करने से भी जीभ पर उभरे छाले ठीक हो जाते हैं।

बेकिंग सोडा का विलयन बनाकर जीभ के प्रभावित हिस्से पर लगाने से छाले 24 घंटे के अंदर शांत पड़ जाते हैं। बेकिंग सोडा में एंटी इंफ्लैमेटरी गुण पाया जाता है जो जीभ के छालों एवं दर्द को दूर करने में प्रभावी तरीके से काम करता है।आधा चम्मच बेकिंग सोडा को पानी में मिलाकर पेस्ट तैयार कर लें। इसके बाद इस पेस्ट को सीधे जीभ पर उभरे छालों पर लगाकर कुछ मिनट के लिए छोड़ दें औऱ फिर गर्म पानी से कुल्ला करके मुंह साफ कर लें। आप चाहें तो गर्म पानी में बेकिंग सोडा डालकर विलयन तैयार कर इससे कुल्ला कर सकते हैं। छालों को दूर करने में यह विलयन बहुत सहायक होता है।

शहद में औषधिवर्धक गुण पाये जाते हैं और यह जीभ के छालों को दूर करने के लिए यह सर्वोत्तम उपचार है। दिन में कई बार जीभ के छालों पर शहद लगाने से छाले शांत हो जाते हैं और दर्द से भी आराम मिलता है। इसके अलावा एक चम्मच शहद में आधा चम्मच हल्दी मिलाकर पेस्ट बना लें और जीभ के प्रभावित हिस्सों पर इस पेस्ट को लगाएं। दिन में तीन से चार बार इस पेस्ट को लगाने से जीभ पर पड़े छाले ठीक हो जाते हैं और आप आराम से खाना भी खा सकते हैं।

रूई के एक टुकड़े को ग्लिसरीन में डुबोएं और रूई (cotton ball) की सहायता से जीभ के प्रभावित हिस्से पर ग्लिसरीन को लगा लें। कुछ देर तक ग्लिसरीन को जीभ पर लगाकर छोड़ दें ताकि यह उसे ठीक से अवशोषित कर ले। इसके बाद पानी से कुल्ला करके मुंह साफ कर लें। जीभ के छालों को दूर करने के लिए ग्लिसरीन एक बेहतर घरेलू उपचार है। अगर संभव हो तो आप रात में सोते समय जीभ के छालों पर ग्लिसरीन लगाएं और अगली सुबह इसे पानी से साफ करें।

नमक और लैक्टिक एसिड के साथ दूध को जीभ के छालों (tongue ulcer) पर लगाने से यह बहुत कम समय में ही छालों की समस्या से निजात दिलाने में मदद करता है। दूध में कैल्शियम और प्रोटीन जैसे कई पोषक तत्व मौजूद होते हैं जो जीभ के छालों को शांत करने में मदद करते हैं। छालों को ठीक करने का दूसरा उपाय यह है कि दूध को कुछ देर तक फ्रिज में रख दें और फिर ठंडे दूध को दिन में तीन से चार बार पीयें। चूंकि जीभ के छाले पेट की समस्या से ही उभरते हैं इसलिए यह पेट को ठंडक पहुंचाता है औऱ छालों को ठीक करने में मदद करता है।

जीभ के छालों से निजात पाने के लिए बर्फ एक ऐसा घरेलू उपचार है जिससे तुरंत आराम मिलता है। बर्फ में एंटी इंफ्लैमेटरी और एनेस्थेटिक गुण पाया जाता है जो छालों के कारण जीभ के जलन और पीड़ा को दूर करने में सहायक होता है। बर्फ के टुकड़े को एक कपड़े में लपेटकर जीभ पर हल्के हाथों से लगाएं। दिन में दो से तीन बार यही क्रम दोहराएं। आपको जरूर फर्क दिखायी देगा।

garlic benefits लहसुन के चमत्कारी स्वास्थ्यवर्धक गुणों के बारे में

आमतौर पर खाने में इस्तेमाल होने वाला लहसुन रोग निवारक का भी काम करता है।
जादातर लहसुन का इस्तेमाल खाने के स्वाद को बढ़ाने के लिए किया जाता है लेकिन कम लोगों को ही पता होता है कि लहसुन का सेवन हमें कई स्वास्थ्य लाभ भी देता है, सर्दियों के सीजन में तो यह बहुत ही लाभकारी होता है इसमें  जुकाम, फ्लू, रक्तचाप, कैंसर से बचाव के गुण पाए जाते हैं।  लहसुन में मौजूद विटामिन और खनिज हृदय रोग को जल्दी ठीक करने में मदद करते है।

लहसुन में एलिसिन नामक मुख्य कंपाउंड होता है जो एक एंटीबॉयोटिक की तरह काम करता है जो आपके शरीर के लिए बहुत ही फायदेमंद होता है। लहसुन में अमीनो एसिड, विटामिन B1, B6, C, मिनरल्स, फ्लैवनॅायड और एन्जाइम होते हैं। लहसुन दिल की बीमारी के लिए भी फायदेमंद होता है। यह जोड़ों के दर्द को भी जल्दी ही दूर कर देता है।
लहसुन में ऐलीसीन नाम का कम्पाउंड होता है जो आपके लिए हाई बीपी में फायदेमंद होता है। बहुत सारे लोगों को ये बात पता नहीं होगी कि लहसुन खाने से हाइपरटेंशन से आराम मिलता है। यह ना केवल ब्लड सर्कुलेशन को काबू में रखता है, बल्कि दिल से जुड़ी परेशानियों को भी दूर करता है।
लहसुन में एंटी-बैक्टीरियल, एंटी-वायरल और एंटी-फंगल कम्पाउंड होते हैं जो सर्दी और ख़ासी के लिए फायदेमंद होते हैं। अगर आपको बहुत तेज़ सर्दी या ख़ासी हुई हो तो लहसुन आपको इससे आराम दिला सकता है। 2 से 3 दाने लौंग या फिर लहसुन को पकाकर खाने से ना सिर्फ आपकी बंद नाक खुलेगी बल्कि आपकी इम्यूनिटी को भी बढ़ाएगा।
लहसुन में एंटीमाइक्रोबियल कम्पाउंड होते हैं जो डायरिया में मदद करता है। लहसुन खाने से पेट की बहुत सारी बीमारियां दूर हो जाती हैं जैसे- डायरिया।
लहसुन का सेवन आपको ठंड से भी बचाता है। कई लोगों का मानना है कि ठंड के दिनों में लहसुन खाने से सर्दी कम लगती है। ठंड के मौसम में गाजर, अदरक और लहसुन का जूस बनाकर पीने से शरीर को एंटीबॉयोटिक्स मिलता है और ठंड भी कम लगती है। 

लहसुन डायबिटीज रोगियों के लिए भी फायदेमंद होता है। यह शरीर में शुगर के स्‍तर को नियंत्रित कर इन्सुलिन की मात्रा को बढ़ा देता है जिससे डायबटीज की बीमारी में राहत मिलती है।

फंगल इंफेक्‍शन के कारण हमारे शरीर के कई भाग कमजोर पड़ जाते हैं, लेकिन लहसुन एंटीबैक्टीरियल गुणों से भरा हुआ है जो आपको इस इंफेक्‍शन से बचाने में आपकी मदद करता है। प्रतिदिन की डाइट में कच्चे लहसुन का इस्तेमाल करने से ऐसी बीमारियां दूर रहती हैं साथ ही उस जगह पर कच्चे लहसुन को पीसकर लगाने से भी फायदा होगा.
लहसुन एंटीसेप्टिक का काम करता है। अगर आपके दांत में बहुत तेज़ दर्द है और आपको किसी दवाई से फायदा नहीं हो रहा है तो लहसुन का इस्तेमाल करना आपके लिए फायदेमंद होता है। लहसुन के कुछ टुकड़ों को लेकर अपने दांतों पर थोड़ी देर तक रगड़े इससे आपको ज़रूर आराम मिलेगा। और इससे इंफेक्शन का खतरा भी कम हो जाता है.
लहसुन में मौजूद एंटी इंफ्लामेटरी तत्‍व एलर्जी को दूर करने में मदद करता है। अगर लहसुन का नियमित रूप से सेवन किया जाए तो शरीर में एलर्जी से होने वाले निशान और चकतों की समस्या भी दूर हो जाती है।
लहसुन का इस्तेमाल पाचन तंत्र को भी मजबूत करता है. इसमें मौजूद कई पोषक तत्व खाने को पचाने में मदद करते हैं. इसके साथ कई रिसर्च में ये भी कहा गया है कि लहसुन का इस्तेमाल कैंसर से बचाव में भी मदद करता है. लहसुन का इस्तेमाल करने वालों में कैंसर होने के चांसेज काफी कम हो जाते हैं.
गर्भावस्था के दौरान लहसुन का नियमित सेवन मां और शिशु, दोनों के स्वास्थ्य के लिए बेहद फायदेमंद होता है। गर्भवती महिलाओं को लहसुन का सेवन नियमित तौर पर करना चाहिए। यह गर्भ के भीतर शिशु के वजन को बढ़ाने में सहायक होता है।

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